अंजोर.रायगढ़, 11 अगस्त। जिला म माहवारी स्वच्छता ल बढ़ावा दे कलेक्टर भीम सिंह के पहल म पावना अभियान के शुरुआत करे गे हावय। अभियान के लक्ष्य रायगढ़ ल शत-प्रतिशत माहवारी जिला बनाना हावय। येकर तहत जिला म महिला मन के माहवारी स्वच्छता के खातिर जागरूक करे अउ ओला सेनेटरी नैपकिन के उपयोग बर प्रेरित करना हावय। जिला म बने कीमत म म महिला मनला सेनेटरी नैपकिन देवाये के खातिर धरमजयगढ़ विकासखंड के खम्हार गांव म 11 लाख रूपिया के सेनेटरी नैपकिन प्रोडक्शन मशीन लगाये गे हावय, जेकर कलेक्टर श्री भीम सिंह ह शुभारंभ करिन।
ए मउका म ओमन किहिन के इहां मशीन ले प्रोडक्शन करके पूरा जिला म बाजार म पैड ल कम कीमत म अच्छा गुणवत्ता के सेनेटरी नैपकिन महिला मन ल उपलब्ध कराये जाही। गांव म आंगनबाड़ी केन्द्र, उचित कीमत के दुकान के माध्यम ले नैपकिन मिलही। संग ही सबोच गांव के खातिर स्वच्छता सखी भी नियुक्त करे गे हावय। जेन महिला मन ल सेनेटरी नैपकिन उपलब्ध कराये के संग माहवारी स्वच्छता के संबंध म जागरूक करही।
10 हजार नैपकिन रोज के उत्पादन क्षमता वाला हावय मशीन
खम्हार म लगाये गे मशीन हाई प्रोडक्शन कैपेसिटी वाला हावय। येकर ले रोज 10 हजार नैपकिन के उत्पादन करे जा सकत हावय। अभी के बेरा म खम्हार के उमा स्व-सहायता समूह के 12 महिला मन उत्पादन बुता म जुटे हावयं। येकर खातिर ओला ट्रेनिंग भी दे गे हावय। खम्हार के वन धन केन्द्र म प्रोडक्शन यूनिट लगाये गे हावय। जिहां येकर संग हाईजिन मेन्टेनेंस के खातिर स्टरलाईजेशन यूनिट भी लगाये गे हावय। येकर संग ही आने-आने साइजेस के पैड बनाये के सुविधा भी ए मशीन म दे गे हावय। ए बखत महिला समूह ह पैड के निर्माण करके के भी दिखाइस। कलेक्टर श्री सिंह ह समूह ल अपन शुभकामना दीस अउ बेचे बर मार्केटिंग के खातिर भी बुता करे के बात किहिन। येकर खातिर ओमन एनआरएलएम के संग ही स्कूल अउ कॉलेज म भी सेनेटरी नैपकिन उपलब्ध कराये के निर्देश दिस। इस बखत एसडीएम संबित मिश्रा, एडिशनल सीईओ जिला पंचायत बी.तिग्गा, जिला शिक्षाधिकारी आर.पी.आदित्य, सीईओ जनपद पटेल, डीएमसी देवांगन सहित जिला अउ जनपद पंचायत के अधिकारी-कर्मचारी, समूह के महिला मन अउ ग्रामवासी उपस्थित रिहिन।
सबो पाठक ल जोहार..,
हमर बेवसाइट म ठेठ छत्तीसगढ़ी के बजाए रइपुरिहा भासा के उपयोग करे हाबन, जेकर ल आन मन तको हमर भाखा ल आसानी ले समझ सके...
छत्तीसगढ़ी म समाचार परोसे के ये उदीम कइसे लागिस, अपन बिचार जरूर लिखव।
महतारी भाखा के सम्मान म- पढ़बो, लिखबो, बोलबो अउ बगराबोन छत्तीसगढ़ी।