खुमान साव सम्मान के पूरा जानकारी... कोन ल दे जाही? कइसे चयन होही? ...अऊ का-का नियम शर्त बनाये हावय विस्तार ले पढ़व

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खुमान साव सम्मान

छत्तीसगढ़ के महान लोकसंगीज्ञ खुमान लाल साव जी के नाम म छत्तीसगढ़ शासन कोति ले 'खुमान साव सम्मान' के घोसना करे गे हावय। खुमान साव के बारे म तो सबोच जानत हावय के ओमन छत्तीसगढ़ी लोकमंच के सर्जक दाऊ रामचंद्र देशमुख के परंपरा ल आगू बढ़ावत सैकड़ों लोकगीत ल संगीतबद्ध करके जन-मन ल अर्पित करे हावय। खुमान साव सम्मान के घोसना करे के खातिर सबले ले पहिली तो छत्तीसगढ़ सरकार ल जोहार। अउ आरूग पारंपरिक लोक संगीत के गुनीजन मनला बधाई। छत्तीसगढ़ के हर कलाकार ह अइसन बड़का लोकसंगीतज्ञ के नाम ले मिलइया सम्मान पाके भागामनी बने के सपना संजोवत होही। तव आव सबले पहिली तो 'खुमान साव सम्मान' के पूरा जानकारी लेथन के, का-का नियम/ शर्त बनाये गे हावय, कइसे आवेदन अउ चयन के प्रक्रिया हावय।

प्रस्तावना :- छत्तीसगढ़ शासन, संस्कृति विभाग ह छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म उपलब्धि अउ दीर्घ साधना ल सम्मानित करे अउ एमे कीर्तिमान विकसित करे के दृष्टि ले राज्य स्तरीय सम्मान के स्थापना के हावया। ए पुनीत बुता म मनखे मन के योगदान ल प्रोत्साहित करे, मान्यता दे अउ प्रतिष्ठा मंडित करे के उद्देश्य ले राज्य शासन ह छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म बुता करत मनखे मन ल “खुमान साव सम्मान” दे के फइसला ले हावया।

1. सम्मान के स्वरूप :- 

छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म जबर बुता करइया एक मनखे ल हरेक साल “खुमान साव सम्मान” रकम रूपिया 1 लाख (रुपये एक लाख) नगद अउ प्रशस्ति पाती के रूप म दे जाही। सम्मान, छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म जबर बुता करइया एक मनखे ल सबोच साल राज्य शासन डहर ले नियुक्त निर्णायक मंडल (जूरी) डहर ले चयन होए म दे जाही।

2. निर्णायक मंडल के गठन :- 

राज्य शासन, लोक संगीत क्षेत्र के प्रतिष्ठित कला मर्मज्ञ के एक निर्णायक मंडल (जूरी), जेन म अधिकतम पांच सदस्यीय होही, के गठन करही ;-    
1. कुलपति, इंदिरा कला संगीत विश्वविद्यालय, खैरागढ़ या उंकर डहर ले मनोनित सदस्य (उक्त विधा के प्राध्यापक)
2. आन चार प्रतिष्ठित कला मर्मज्ञ छत्तीसगढ़ संस्कृति परिषद्‌ के अंतर्गत-
                (1) कला अकादमी के अध्यक्ष
                (2) कला अकादमी के सदस्य
                (3) उप संचालक, संस्कृति अउ राजभाषा
                (4) प्रतिष्ठित लोकसंगीत

 

3. निर्णायक मण्डल के शक्ति :-

(1) निर्णायक मण्डल के सिफारिश म आखरी रूप ले चयनित एक मनखे के घोसना राज्य शासन डहर ले करे जाही।
(2) सम्मान के चयन के संबंध म कोनो आपत्ति या अपील स्वीकार नइ करे जाही।
(3) संबंधित सम्मान साल के खातिर मिले प्रविष्टि के अलावा निर्णायक मंडल (जूरी) स्वविवेक ले अइसे मनखे मन के नाम म विचार कर सकही, जेला वो ह सम्मान के उद्देश्य के मुताबिक पाए।
(4) सबोच साल के सम्मान के खातिर एक मनखे के चयन होही।
(5) निर्णायक मंडल (जूरी) के बइठक के सरी कार्यवाही गोपनीय रइही अउ उंकर डहर ले सर्वानुमति ले करे गे लिखित सिफारिश के अलावा बइठक के बखत होइ विचार-विमर्श के कोनो लिखित अभिलेख नइ रखे जाही।
(6) निर्णायक मंडल के माननीय सदस्य मन ल चयन प्रक्रिया के खातिर बलाये जाये म ओला राज्य के वरिष्ठ अधिकारी ग्रेड-ए के समकक्ष श्रेणी म यात्रा भत्ता देय होही।

 

4. चयन के प्रक्रिया :-

सम्मान के खातिर वाजिब मनखे के चयन के प्रकिया ये मुताबिक रइही :-
(1) जेन साल के खातिर सम्मान दे जाना हावय वो साल के खातिर प्रविष्टि मंगाए बर संचालक, संचालनालय संस्कृति अउ राजभाषा डहर ले प्रमुख समाचार-पत्र म राज्य शासन के तनि ले जनसंपर्क संचालनालय के माध्यम ले विज्ञापन प्रकाशित कराये जाही अउ विषय विशेषज्ञ ले तको नियम के मुताबिक प्रविष्टि मंगाए जाही। करार तिथि के बाद मिले प्रविष्टि विचार के खातिर मान्य नइ करे जाही।
(2) प्रविष्टि संचालक, संचालनालय संस्कृति अउ राजभाषा ल प्रस्तुत के जाही। प्रविष्टि ये कालम प्रस्तुत करे जाए :-
        क. मनखे के पूरा परिचय, पता अउ फोटोग्राफ,
              छत्तीसगढ़ मूल निवासी अउ आधार कारड अनिवार्य (सत्यापित छायाप्रति).
        ग. छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म करे गे बुता के जानकारी,
        घ. यदि कोनो आन सम्मान मिले हो, त ओकर विवरण,
        च. छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म जबर बुता के जानकारी अउ परमान अउ उत्कृष्ट बुता करे के संबंध में
प्रकाशित सामान के छायाप्रति। (उपलब्धतानुसार)
        छ. छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म उत्कृष्ट बुता के संबंध म प्रख्यात्‌ पत्र/पत्रिकाओं/ग्रंथ के मुखपृष्ठ के फोटो प्रति (सत्यापित) यदि कोनो हो.
        ज. चयन होए के दशा म सम्मान ग्रहण करे के संबंध म संबंधित मनखे के लिखित सहमति.
(3)   आ. चयन के खातिर नियम म निर्दिष्ट मानदण्डों के अलावा कोनो अउ शर्त लागू नइ होही।
        ब. एक बार चयन नइ होए के मतलबये नइ होही के संबंधित मनखे के बुता दोबारा सम्मान हेतु विचारणीय नइ हावय।
(4) प्रविष्टि म अंतर्निहित तथ्य/जानकारी के अलावा आन पश्चात्‌वर्ती पत्र-व्यवहार म सम्मान के संबंध म कोनो विचार नइ करे जाही।
(5) प्रविष्टि म दिये गे तथ्य/निष्कर्ष/प्रमाण के सरी उत्तरदायित्व प्रविष्टि प्रस्तुतकर्ता के रइही।
(6) करार तिथि तक मिले सबो प्रविष्टि ल संबंधित सम्मान साल के पंजी म निम्नांकित प्रपत्र म सबो प्रविष्टि ल पंजीकृत करे जाही-
सम्मान आवेदन प्रारूप के  क्रम- 
1 सम्मान बर मनखे के नाम, पता अउ मोबा.नं. अउ आधार कारड के छायाप्रति
2 जन्मतिथि अउ आयु
3 प्रस्तावक के नाम अउ पता
4 लोक संगीत ल उपलब्धि के संक्षिप्त ब्यौरा अउ बुता अवधि
5 मिले पुरस्कार/सम्मान ( अंतर्राष्ट्रीय/राष्ट्रीय/प्रदेशस्तरीय/जिला स्तरीय)
6  यदि सरकारी सेवारत हो त जानकारी
7 सम्मान ग्रहण करे बर सहमति पत्र

 

(7) पंजीयन के बाद संचालक, संचालनालय संस्कृति अउ राजभाषा के डहर ले निम्नांकित शीर्षकों म सबोच प्रविष्टि के संबंध म निर्णायक मंडल के बइठक के खातिर संक्षेपिका तइयार करवाये जाही-
1. मनखे के नाम अउ पता
2. प्रस्तावक
3. कलाकार के उपलब्धि के संक्षिप्त ब्यौरा
4. मिले पुरस्कार/सम्मान
5. प्रमाण/टिप्पणि
6. सम्मान ग्रहण करे बाबत्‌ सहमति हावय/नइ हावय

 

5. चयन के मानदंड :- 

सम्मान के खातिर छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म उत्कृष्ट बुता करइया मनखे के चयन के खातिर निम्नलिखित मानदण्ड रइही :-
(1) सम्मान के खातिर निर्णायक मंडल (जूरी) डहर ले अइसे मनखे के चयन करे जाही जेन मन समर्पित भाव ले छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म दीर्घकालीन उत्कृष्ट सेवा करे हो।
(2) निर्णायक मण्डल डहर ले भूतकालिक अउ अभी के बेरा दुनों रकम ले छत्तीसगढ़ी लोक संगीत बुता के मूल्यांकन होही।
(3) मनखे या प्रस्तावक डहर ले प्रमाण-पत्र प्रस्तुत करे के सम्मान के खातिर प्रस्तावित मनखे ह छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म दीर्घकालीन सेवा करे हावय।
(4) सम्मान काबर के छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के समग्र योगदान के आधार म दे जाही इही सेती छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के जबर बुता करइया डहर ले निजी स्तर म करे गे योगदान के संबंध म पर्याप्त परमान होना जरूरी हावय।
(5) ये तको देखे जाही के छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म नवा पद्धति अउ नवा  क्षेत्र ल कोन सीमा तक अउ कतका सघनता ले अपनाइन गे हावय।

 

(6) निर्णायक मण्डल के अशासकीय सदस्य के परिवार जन वो साल के सम्मान के खातिर अपन प्रविष्टि प्रस्तुत नइ कर सकही, जेन साल के सम्मान के निर्णायक मण्डल म मनखे ले संबंधित मनखे सदस्य हावय।
(7) यदि कोनो सरकारी अधिकारी/कर्मचारी ह राज्य स्तरीय सम्मान/पुरस्कार दे बर स्वयं ही विभाग म आवेदन प्रस्तुत करे हो या उंकर नाम के प्रस्ताव उंकर संबंधित कार्यालय के माध्यम ले विभाग म मिले हो या आन व्यक्ति/कार्यालय/संस्था डहर ले ओकर नाम सम्मान/पुरस्कार दे बर प्रस्तावित करे गिस हो, त ये सबो स्थिति म संबंधित प्रशासकोय विभाग डहर ले अइसे शासकोय अधिकारी/कर्मचारी के प्रकरण नियम के तहत गठित निर्णायक मंडल (जूरी) / चयन समिति के तीर प्रस्तुत करे बर सामान्य प्रशासन विभाग के मंजूरीप्राप्त करे जरूरी होही। सामान्य प्रशासन विभाग के मंजूरी मिले म ही ओकर प्रकरण विभाग डहर ले निर्णायक मंडल (जूरी )/चयन समिति के तीर प्रस्तुत करे जाही।
(8) यदि निर्णायक मंडल (जूरी)/चयन समिति डहर ले स्वतः ही स्व-विवेक ले विचार करत, कोनो सरकारी अधिकारी/ कर्मचारी ल राज्य स्तरीय सम्मान/पुरस्कार दे के खातिर चयनित करे जाना हो त उंकर चयन के संबंध म छत्तीसगढ़ शासन, समन्वय ले अनुमोदन मिलना जरूरी होही।

 

6. सम्मान के घोसना :- 

निर्णायक मंडल अपन फइसला गोपनीय रूप ले संस्कृति विभाग ल प्रस्तुत करही अउ राज्य शासन डहर ले सम्मान के खातिर चयनित मनखे मन ल औपचारिक घोसना करे जाही।

7. अलंकरण समारोह :- 

सम्मान के अलंकरण समारोह हरेक साल संचालनालय संस्कृति अउ राजभाषा डहर ले आयोजित होही जेमा विभाग ह खातिर चयनित मनखे ल आमंत्रित करही। बिसेस परिस्थिति म सम्मानित मनखे अपन मदद के खातिर सिरिफ एक सहायक संग म ला सकही, जेला उंकरे संग यात्रा अउ घर के सुविधा पाही। सम्मान मिले मनखे ल शासन के दूसरइया श्रेणी अधिकारी के समकक्ष रेल अउ वायुयान ले यात्रा करे अउ यात्रा भत्ता पाये के पात्रता होही।

8. व्यय के संपूर्ति :-

सम्मान अउ अलंकरण समारोह ले संबंधित बेवस्था म होए वाला व्यय के पूर्ति छत्तीसगढ़ शासन डहर ले करे जाही। सम्मान/पुरस्कार बर रकम रु. 1 लाख अउ आन व्यय बर रकम रु. 1 लाख अर्थात्‌ कुल रकम रु. 2.00 लाख मात्र व्यय होही।

9. नियम म संशोधन अउ बदलाव :- 

राज्य शासन, संस्कृति विभाग ल सम्मान नियम म जरूरत  मुताबिक संशोधन अउ बदलाव करे के अधिकार होही। ये नियम म अंतर्निहित प्रावधान के संबंध म सचिव, संस्कृति विभाग के व्याख्या आखरी मानी जाही, अइसे मामला जेकर नियम म उल्लेख नइ हावय, के निराकरण के अधिकार तको सचिव, छत्तीसगढ़ शासन, संस्कृति विभाग ल होही।

10. आन जुमेदारी के निर्वहन :- 

चयनित मनखे के छत्तीसगढ़ी लोक संगीत के क्षेत्र म मिले उपलब्धि/कार्य उक के संबंध म समारोह के समय एक सचित्र स्मारिका जारी के जाही जेमा सम्मान के उद्देश्य, स्वरूप, सम्मान मिले के विवरण उक के समावेश होही।

संकलनकर्ता - जयंत साहू
(ये सबो जानकारी अंजोर पत्रिका के संपादक जयंत साहू कोति ले अनुवादित करे गे हावय। जेन ह शासन के राजपत्र म तको प्रकाशित होए हाबे। हो सकत हाबे के कोनो अंश के प्रशासनिक शब्दावली म अर्थ आन होही, जेन ल मानवीय भूल माने जाही।)

Khuman Sao

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  25. महाराजा प्रवीरचंद्र भंजदेव सम्मान ... 
  26. चंदूलाल चंद्राकर सम्मन ...
  27. पं. लखनलाल मिश्र सम्मान ... 
  28. बिलासा बाई केवटिन सम्मान ... 
  29. शहीद वीर नारायण सिंह सम्मान ... 
  30. छत्तीसगढ़ अप्रवासी भारतीय सम्मान ... 
  31. पंडित माधव राव सप्रे राष्ट्रीय सृजनशीलता ... 
  32. राजराजेश्वरी करुणामाता ...
  33. लक्ष्मण मस्तुरिया सम्मान...
  34. खुमान साव सम्मान...
आवेदन प्रारूप


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सबो पाठक ल जोहार..,
हमर बेवसाइट म ठेठ छत्तीसगढ़ी के बजाए रइपुरिहा भासा के उपयोग करे हाबन, जेकर ल आन मन तको हमर भाखा ल आसानी ले समझ सके...
छत्तीसगढ़ी म समाचार परोसे के ये उदीम कइसे लागिस, अपन बिचार जरूर लिखव।
महतारी भाखा के सम्मान म- पढ़बो, लिखबो, बोलबो अउ बगराबोन छत्तीसगढ़ी।

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