'बेटा' म पारिवारिक संबंध, सामाजिक मान्यता अउ ठेठ छत्तीसगढ़ी म ग्राम्य जीवन के झलक, 22 नवंबर 2024 ले देखे बर झन भुलाहू

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'बेटा' म पारिवारिक संबंध, सामाजिक मान्यता अउ ठेठ छत्तीसगढ़ी म ग्राम्य जीवन के झलक, 22 नवंबर 2024 ले देखे बर झन भुलाहू


अब तक छॉलीवुड म सौ ले आगर छत्तीसगढ़ी फिलिम बन चुके हावय, जेमा कुछ ही फिलिम इहां के मूल संस्कृति अउ परंपरा ल देखाथे। लेकिन चकोर ​फिल्म प्रोडक्शन के फिलिम के मूल म ही संस्कृति अउ परंपरा के प्रचार समाये रिथे। गुरावंट के बाद चकोर फिल्म के एक अउ महान पारिवारिक फिलिम 'बेटा' 22 नवंबर 2024 ले सिनेमाघर म अवइया हाबे। निर्माता निर्देशक चंद्रशेखर चकोर के फिलिम 'बेटा' म ये दरी पुमंगराज डेब्यू करत हाबे मशहूर अभिनेत्री हेमा शुक्ला के संग। बेटा' म पुमंगराज के संग हेमा शुक्ला के शानदार जोड़ी देखे बर मिलही। फिल्म चंद्रशेखर चकोर, शालिनी विश्वकर्मा, लेखाश्री, शिवआनंद, घनश्याम वर्मा, सुदामा शर्मा, मीना विश्वकर्मा, बलराज पाठक, कुलेश्वर ध्रुव आदि अहम किरदार म नजर आही।

देखो का खास हे फिलिम म - 

  • पारिवारिक मूल्य: फिल्म म परिवार के महत्वपूर्ण स्थान हावय, जहां पिता अउ बेटा के रिश्ता के गहराई दिखाये गे हावय।
  • पुरखौती बेवसाय अउ जीविका: कहानी म परिवार के पुरखौती बेवसाय अउ गांव के जीवनशैली ल प्रमुखता दे गे हावय, जेन ग्रामीण संस्कृति के एक अभिन्न हिस्सा हे।
  • संस्कृति अउ परंपरा: स्थानीय तिहार अउ परंपरा के जिक्र फिल्म म देखेे बर मिलही, जेन गांव के लोगन के चिनहारी होथे।
  • सामाजिक मुद्दा: फिल्म म ग्रामीण समाज के कुछ मुद्दा ल तको उठाये गे हाबे, जइसे जाति अउ परिवार म वर्चस्व के लड़ाई।
  • भावनात्मक जुड़ाव: गांव के लोगन के सादगी अउ भावना दर्शक ल जोड़थे, जेन म ग्राम्य संस्कृति के आत्मा ल बयां करथे।
ये रकम ले फिलिम 'बेटा' म ग्राम्य संस्कृति ल एक संवेदनशील अउ वास्तविक दृष्टिकोण ले प्रस्तुत करेे गे हावय।हर छत्तीसगढ़िया ल ये फिलिम देखेना हाबे। अउ जब आप ये फिलिम ल देखहू त खंचित ही अपन गांव के सुरता करे बर मजबूर हो जहू। जेन संगवारी मन गांव नइ देखे हाबे, गांव के जीवन ल नइ देखे हाबे ओमन बर ये फिलिम सुघ्घर दपर्ण सही गांव के जीवन ल परगट देखाही। 22 नवंबर 2024 से 'बेटा' ह सिनेमाघर म प्रदर्शित होवत हाबे, सबो लाग-परवार संग देखे बर जरूर आहू।

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